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चचा साम के नाम मंटो के खत-6 / सआदत हसन मंटो
छठा खत
खत गुम हो गया !
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नन्हा राजकुमार / सैंतेक्जूपेरी
नन्हा राजकुमार एंटोनी दे संतएक्सुपेय बाल साहित्य; उपन्यास नन्हा राजकुमार एक मशहूर बाल नोविला या नावेल है | यह मूल रूप से फ्रेंच भाषा मैं लि...
प्रिय जिंदगी / एलिस मुनरो
जब मैं छोटी थी, एक लंबी सड़क के आखिरी सिरे पर रहती थी, या ऐसा कहूँ कि उस सड़क पर रहती थी जो मुझे बेहद लंबी लगती थी। जब मैं प्राइमरी स्कूल ...
क्षमादान / लेव तालस्तोय
दिल्ली नगर में भागीरथ नाम का युवक सौदागर रहता था। वहाँ उसकी अपनी दो दुकानें और एक रहने का मकान था। वह सुंदर था। उसके बाल कोमल, चमकीले और घ...
रहस्य / मुंशी प्रेमचंद
विमल प्रकाश ने सेवाश्रम के द्वार पर पहुँचकर जेब से रूमाल निकाला और बालों पर पड़ी हुई गर्द साफ की, फिर उसी रूमाल से जूतों की गर्द झाड़ी और ...
राजपूत कैदी / लेव तालस्तोय
धर्म सिंह नामी राजपूत राजपूताना की सेना में एक अफसर था। एक दिन माता की पत्री आई कि मैं बूढ़ी होती जाती हूँ, मरने से पहले एक बार तुम्हें दे...
एकाकी / एडगर ऐलन पो
मैं बचपन से नहीं हूँ औरों जैसा, मेरा नजरिया नहीं रहा दूसरे की तरह, न ही मुझे आवेग मिले समान सोते से; मेरे दुखों का उद्गम था सबसे अ...
एनिमल फार्म / जॉर्ज ऑर्वेल
क़िताब: एनिमल फार्म लेख़क: जॉर्ज ऑर्वेल अनुवाद: सूरज प्रका श जॉर्ज ऑरवेल का लघु उपन्यास बोलशेविक क्रांति की विफलता पर व्यंग्य है...
दुष्ट सर्प और कौवे / मित्रभेद-पंचतंत्र / पं. विष्णु शर्मा ( The Cobra and the Crows)
एक जंगल में एक बहुत पुराना बरगद का पेड था। उस पेड पर घोंसला बनाकर एक कौआ-कव्वी का जोडा रहता था। उसी पेड के खोखले तने में कहीं से आकर एक ...
बन्दर और लकड़ी का खूंटा / मित्रभेद-पंचतंत्र / पं. विष्णु शर्मा (The Monkey and The Wedge Story In Hindi)
एक समय शहर से कुछ ही दूरी पर एक मंदिर का निर्माण किया जा रहा था। मंदिर में लकडी का काम बहुत था इसलिए लकडी चीरने वाले बहुत से मज़दूर काम ...
चचा साम के नाम मंटो के खत-7 / सआदत हसन मंटो
सातवाँ खत चचाजान, आदाओ-तस्लीमात। माफ कीजिएगा, मैं इस वक्त अजीब उलझन में फँसा हुआ हूँ। मेरे पिछले खत की रसीद मुझे अभी तक नही...